द्वितीय विधान 6:25

शेमा और भगवान के प्रेम

द्वितीय विधान 6:25

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और यदि हम अपने परमेश्‍वर यहोवा की दृष्टि में उसकी आज्ञा के अनुसार इन सारे नियमों के मानने में चौकसी करें, तो यह हमारे लिये धर्म ठहरेगा।'