उपद्रवि (Upadravi) 35:25
तबेर्नेकल के लिए योगदान
उपद्रवि (Upadravi) 35:25
और जितनी स्त्रियों के हृदय में बुद्धि का प्रकाश था वे अपने हाथों से सूत कात-कातकर नीले, बैंगनी और लाल रंग के, और सूक्ष्म सनी के काते हुए सूत को ले आईं।
आसन्न आयतें
पिछली आयत
उपद्रवि (Upadravi) 35:24
फिर जितने चाँदी, या पीतल की भेंट के देनेवाले थे वे यहोवा के लिये वैसी भेंट ले आए; और जिस-जिस के पास सेवकाई के किसी काम के लिये बबूल की लकड़ी थी वे उसे ले आए।
अगली आयत
उपद्रवि (Upadravi) 35:26
और जितनी स्त्रियों के मन में ऐसी बुद्धि का प्रकाश था उन्होंने बकरी के बाल भी काते।