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जो चुगली करता फिरता वह भेद प्रगट करता है,
जो अपने पड़ोसी को तुच्छ जानता है, वह निर्बुद्धि है,
जहाँ बुद्धि की युक्ति नहीं, वहाँ प्रजा विपत्ति में पड़ती है;